संतकबीरनगर। शिक्षा विभाग की कथित मिलीभगत से जिले में सैकड़ों अवैध विद्यालय धड़ल्ले से संचालित हो रहे हैं। बिना मान्यता के ये विद्यालय न केवल शिक्षा की गुणवत्ता को प्रभावित कर रहे हैं, बल्कि छात्रों के भविष्य से भी खिलवाड़ कर रहे हैं।
सूत्रों के अनुसार, कई निजी विद्यालय सरकारी नियमों और शैक्षिक मानकों की धज्जियां उड़ाते हुए बगैर किसी मान्यता के चल रहे हैं। ये विद्यालय अभिभावकों से मोटी फीस वसूलते हैं, लेकिन छात्रों को बुनियादी शैक्षणिक सुविधाएं तक मुहैया नहीं करा पा रहे हैं। इस पूरे मामले में शिक्षा विभाग के अधिकारियों पर मिलीभगत के आरोप लग रहे हैं, जो इन अवैध संस्थानों के खिलाफ कार्रवाई करने में विफल रहे हैं।
अभिभावकों का कहना है कि उन्हें इस बात का कोई अंदाजा नहीं था कि उनके बच्चों को पढ़ाने वाले स्कूल अवैध रूप से संचालित हो रहे हैं। जब उन्हें इसकी जानकारी मिली तो तब तक देर हो चुकी, क्योंकि अब किसी अच्छे मान्यता प्राप्त स्कूल में प्रवेश बंद हो चुके, ऐसे गैर मान्यता प्राप्त स्कूल धड़ल्ले से बिना किसी रोक टोक के चल रहे हैं, इससे जाहिर होता है कि शिक्षा विभाग और इन विद्यालयों के बीच मिलीभगत की स्थिति है।
इस मुद्दे को लेकर जनपद के नागरिकों ने जिला प्रशासन से मांग की है कि इन अवैध विद्यालयों के खिलाफ तुरंत कार्रवाई की जाए। शिक्षा के क्षेत्र में इस प्रकार की अनियमितताओं से छात्रों का भविष्य खतरे में है, और प्रशासन को जल्द से जल्द ठोस कदम उठाने की जरूरत है।
अब देखना यह है कि क्या शिक्षा विभाग इस गंभीर मुद्दे को संज्ञान में लेकर कार्रवाई करता है, या फिर इन अवैध विद्यालयों का संचालन इसी तरह जारी रहेगा।
नोट – उपरोक्त समाचार सिर्फ कार्यवाही के लिए सूचनार्थ है, शिक्षा विभाग या शिक्षा विभाग से जुड़े किसी भी व्यक्ति को अपमानित या आरोप लगाने की चेष्टा से नही ।