ब्यूरो रिपोर्ट
मथुरा। लखनऊ से आई विजिलेंस टीम ने बड़ी कार्रवाई करते हुए मथुरा की जिला पंचायत राज अधिकारी (डीपीआरओ) किरण चौधरी को रिश्वत लेते रंगे हाथ गिरफ्तार कर लिया। डीपीआरओ को गांव झुड़ावई के प्रधान प्रताप सिंह राना से ₹70,000 की रिश्वत लेते हुए पकड़ा गया। इस कार्रवाई से जिले के सरकारी महकमों में हड़कंप मच गया है।
शिकायत के बाद विजिलेंस ने रचा जाल
झुड़ावई गांव के प्रधान प्रताप सिंह राना ने लखनऊ विजिलेंस टीम में शिकायत की थी कि ग्राम सभा की अस्थायी गोशाला के टीन शेड निर्माण को लेकर डीपीआरओ रिश्वत मांग रही हैं। इस पर विजिलेंस की दो टीमों ने मिलकर मथुरा में छापा मारने की योजना बनाई।
- प्रधान ने बताया कि वर्ष 2022-23 में हरेकृष्णा कंस्ट्रक्शन द्वारा निविदा प्रक्रिया से टीन शेड का निर्माण किया गया था। लेकिन कार्य में अनियमितताओं के चलते डीएम ने 10 जून 2024 को पंचायती राज अधिनियम के तहत प्रधान के वित्तीय अधिकार निलंबित कर दिए और एक तीन सदस्यीय जांच समिति गठित कर दी।
- इस मामले में डीपीआरओ किरण चौधरी ने ग्राम प्रधान से पक्ष में रिपोर्ट लगाने के लिए रिश्वत की मांग की।
- रिश्वत की मांग सेवानिवृत्त ड्राइवर बिजेंद्र सिंह के जरिए की जा रही थी।
- चार-पांच महिला अधिकारियों सहित विजिलेंस टीम ने जाल बिछाकर डीपीआरओ को उनके आवास पर रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार कर लिया।
कार्यालय में दस्तावेजों की जांच, कई फाइलें जब्त
गिरफ्तारी के बाद विजिलेंस की दूसरी टीम राजीव भवन स्थित डीपीआरओ कार्यालय पहुंची और गांव झुड़ावई में चल रहे विकास कार्यों से जुड़ी फाइलों की जांच की।
- बड़े बाबू से दस्तावेज मंगवाए गए और कई फाइलें जब्त कर लखनऊ ले जाई गईं।
पहले शिक्षक थीं किरण चौधरी
गिरफ्तार डीपीआरओ किरण चौधरी पहले बीएन पोद्दार इंटर कॉलेज में शिक्षिका थीं। डीपीआरओ के पद पर चयन होने के बाद उन्होंने शिक्षक की नौकरी छोड़ दी थी।
डीएम बोले- विजिलेंस ने की पक्की कार्रवाई
मथुरा के जिलाधिकारी सीपी सिंह ने कहा कि विजिलेंस की टीम ने पुख्ता सबूतों के आधार पर कार्रवाई की है। डीपीआरओ को लखनऊ ले जाया गया है, जहां उनसे आगे पूछताछ की जा रही है।
कार्रवाई से प्रशासन में हड़कंप
इस कार्रवाई से मथुरा प्रशासन और सरकारी महकमों में हड़कंप मच गया है। विजिलेंस अब गिरफ्तार डीपीआरओ के खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई करने की तैयारी में है।