एनसीपी प्रमुख शरद पवार ने सारे समीकरण पलटकर रख दिए और अब शिवसेना के साथ सख्त मोल-भाव में जुट गए है
महाराष्ट्र में गठबंधन सरकार बनने पर ढाई साल तक शिव सेना का मुख्यमंत्री होगा और बाकी ढाई साल एनसीपी का सीएम रहेगा.
खास बातें
सरकार बनाने के लिए एक समन्वय समिति बनाई जाएगी
समिति में शिवसेना, एनसीपी और कांग्रेस के नेता रहेंगे
सरकार का एक न्यूनतम साझा कार्यक्रम बनाया जाएगा
नई दिल्ली: महाराष्ट्र में कांग्रेस और एनसीपी आखिरकार सत्ता का चक्रव्यूह भेदने में सफल रही है. इसकी वजह हैं चाणक्य शरद पवार. उनकी पार्टी को बीजेपी ने खत्म होने की कगार पर बता दिया था और कहा था कि एनसीपी को दस सीटें आएंगी. मगर 80 साल के पवार ने सारे समीकरण पलटकर रख दिए और अब शिवसेना के साथ सख्त मोल-भाव में जुट गए हैं. वैसे भी शिवसेना अब उस कगार पर पहुंच गई है जहां वह मोल भाव करने की हालत में है नहीं. सोनिया गांधी ने महाराष्ट्र में सरकार बनाने की जिम्मेदारी एक तरह से पवार को ही सौंप दी है. इतना जरूर है कि कहा जा रहा है कि कांग्रेस और एनसीपी के पांच-पांच नेताओं की एक कमेटी बनाई गई है.
इस कमेटी में एनसीपी की तरफ से अजीत पवार, जयंत पाटिल, छगन भुजबल, धनंजय मुंडे और नबाब मलिक शामिल होंगे. तो कांग्रेस की तरफ से पृथ्वीराज चौहान,अशोक चव्हाण,बाला साहेब थोरात, मानिक राव ठाकरे और विजय वेदितिवार शामिल हो सकते हैं..अब आगे होगा क्या? यह महत्वपूर्ण है. महाराष्ट्र में सरकार बनाने के लिए एक समन्वय समिति बनाई जाएगी जिसमें शिवसेना, एनसीपी और कांग्रेस तीनों दलों के नेता होंगे. एक न्यूनतम साझा कार्यक्रम बनाया जाएगा.
मुख्यमंत्री 50-50 के आधार पर होगा. यानी पहले ढाई साल तक शिव सेना का मुख्यमंत्री होगा ।