बस्ती से अनिल शुक्ला की रिपोोर्ट
योगी सरकार में मन्दिरो का विकास और पूजा पाठ सौंन्द्रिकरण पर लाखों खर्च किया जा रहा है वही डुमरियागंज के प्रसिद्ध शिवमंदिर भारत भारी पर महन्थ और साधुओं को मंदिर से मनमाने ढंग से पुलिस प्रशाशन ने बेदखल कर दिया जिससे मंदिर पर पूजा पाठ बन्द हो गया है।अपने शिकायती पत्र गिरजेश दास ने आयुक्त बस्ती को देकर न्याय की मांग किया है।
श्री दस ने भारत भारी शंकर जी मंदिर भारतभारी के महंथ होने का दावा किया है कि मन्दिर के महन्थ ने शिष्य के रूप में अपना रजिस्टर्ड उत्तराधिकारी नामित किया है लेकिन सत्ता में दखल रखने वालों के इशारे पर प्रशाशन बिना किसी अधिकार के मंदिर परिसर से बेदखल कर रहा है।वही गिरजेश दास ने मण्डलायुक्त को ज्ञापन देकर मंदिर में देवी देवताओं की पूजा अर्चना शुरू कराने की मांग किया है। महंथ गिरजेश दास ने बताया कि सिद्धार्थनगर जनपद के डुमरियागंज तहसील क्षेत्र में स्थित भगवान शिव जी मंदिर भारतभारी के ब्रम्हलीन महंथ बाबा आर.के. परदेशी ने उन्हें शिष्य के रूप में स्वीकार कर रजिस्टर्ड वसीयत किया है। वे वर्ष 2005 से शिष्य के रूप में महंथ बाबा आर.के. परदेशी की सेवा के साथ ही मंदिर व मेला का आयोजन कराने के साथ ही देवी देवताओं के राग भोग आदि का प्रबंधन करते रहे हैं।
उन्होंने आरोप लगाया है कि प्रशासनिक अधिकारियों को भ्रम में रखे हुये हैं गत 21 अक्टूबर 2019 को डुमरियागंज के उप जिलाधिकारी ने बिना किसी आदेश के कुटी को बंद करा दिया और लेखपाल को मंदिर व कुटी की चाभी दे दिया। महंथ गिरजेश दास, रामानन्ददास, उनके शिष्य व साधू गणों को कुटी से धमकाते हुये बाहर कर दिया। तभी से देवी, देवताओं की पूजा अर्चना, राग भोग बंद है। इससे धार्मिक आस्था एवं पूजा के अधिकार को ठेस पहुंच रहा है।
महंथ गिरजेश दास ने कहा कि शंकर जी मंदिर भारतभारी में पूजा अर्चना शुरू कराने का अधिकार देने के साथ ही वसीयत के आधार पर उन्हें दायित्वों के निर्वहन से अकारण न रोका जाय। इस अवसर पर महंथ गिरजेश दास के साथ अनेक साधू संत शामिल रहे।